वैशाली.BIHAR NEWS: बिहार में सरकारी नौकरी करना हर छात्र और हर अभिभावक की पहली इच्छा होती है. शायद यही वजह है कि किसी भी सरकारी नौकरी की बहाली में अभ्यर्थियों की भारी भीड़ उमड़ती है. वहीं इसी कारण से फ्रॉड करने वाले शातिर गिरोह ने अक्सर बिहारियों की इस कमजोरी का फायदा उठाते रहते हैं. ताजा मामला बिहार के वैशाली जिले से सामने आया है, जिसमें फर्जी बहाली कर सैंकड़ों युवक युवतियों से करोड़ो की ठगी कर ली गयी. ऐसे फर्जीवाड़े की कहानी फिल्मों में भी देखने को मिलती है, जहां नौकरी के नाम पर ठगी कर ली जाती है.
दरअसल पिछले साल अगस्त के महीने में बिहार के कई जिलों में पंचायत के मुखिया के यहां एक लेटर पोस्ट से भेजा गया जिसमें आंगनबाड़ी की तर्ज पर हर वार्ड में एक शिक्षक और प्रत्येक पंचायत में एक कॉर्डिनेटर की बहाली करने की बात लिखी थी. इसमें बिहार में कुल 9220 पद बहाली होने का जिक्र था. लेटर मिलते ही कई मुखिया ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर इस जानकारी को साझा कर दिया तो कई मुखिया ने चुपचाप अपने लोगो की बहाली का जुगाड़ सेट कर दिया. जैसे लोगो को पता चला कि पंचायत में सेंट्रल गवर्नमेंट के प्राइमरी एडुकेशन से बहाली होनी है वैसे ही लोग ऑनलाइन आवेदन करना शुरू कर दिए.
BIHAR NEWS: एक उम्मीदवार से 80 हजार तक की उगाही
फिर क्या था सभी से ऑनलाइन आवेदन लिया गया. ऑनलाइन ही इंटरव्यू होने लगा और फिर नौकरी देने के एवज में कम से कम 35 हजार और अधिक से अधिक 80 तक की उगाही कर ली गई. इस दौरान सभी सेंटर पर एक कागज का बोर्ड, एक कुर्सी और कुछ किताब भी भेजा गया जिसके बाद तो सभी यकीन हो गया कि उनकी नौकरी लग गई है. पीड़ित रामसेवक कुमार ने बताया कि जब सैलरी की बारी आई तो नौकरी देने वाली संस्था फरार हो गई है.
वेबसाइट, फोन नंबर सब बंद
एक और पीड़ित संतलाल महतो ने कहा कि संस्था ने अपना वेबसाइट बंद कर लिया है जिनके मोबाइल नंबर जारी किए गए थे. वह सभी नंबर बंद पड़े है. लिहाजा अब फर्जी नौकरी पाने वाले लोगो के पैरों तले जमीन खिसक गई है और अब सभी पीड़ित प्रशासन ने न्याय की गुहार लगा रहे हैं. पीड़ित शिवपूजन कुमार ने कहा कि राज्य सरकार और प्रशासन के लोगों से गुजारिश है कि इस मामले में हमारी मदद करे. सबसे हैरत की बात तो यह है कि प्रशासन के नाक के नीचे महीनों से इतना बड़ा स्कैम चल रहा था और प्रशासन को इसकी भनक तक नहीं लगी.