Bilaspur Crime News: बिलासपुर में मंदिर से ऐतिहासिक और दुर्लभ गरुड़ गणेश की मूर्ति (Idol of Lord Garuda) चोरी हो गई है. भगवान गरुड़ की मूर्ति काले ग्रेनाइट की डेढ़ फीट ऊंची है. गुरुवार की रात मंदिर के सेवक को चोरों ने बंधक बनाकर चोरी की वारदात को अंजाम दिया.
चोरी से पहले चोरों ने सेवक की जमकर पिटाई की और हाथ पैर बांध मुंह में टेप चिपकाकर घटना को अंजाम दिया. दुर्लभ गरुड़ की मूर्ति चोरी मामले की बिलासपुर पुलिस जांच में जुट गई है. घटना मस्तूरी थाने के इटवा पाली की है. गुरुवार रात करीब 1 से 2 बजे के बीच 4 नकाबपोश चोर मंदिर पहुंचे. सबसे पहले सेवक महेश केंवट की पिटाई कर मंदिर की चाबी ली और अंदर घुसे. मूर्ति को औजार से उखाड़ने की कोशिश में नाकाम रहने पर चोर तोड़कर ले गए.
सुबह होने पर ग्रामीणों ने सेवक के हाथ पैर और मुंह पर टेप बंधा देखा. घटना की जानकारी मिलते ही ग्रामीणों ने पुलिस को मूर्ति चोरी की सूचना दी. सूचना पाकर कुछ देर में आईजी रतनलाल डांगी, एसएसपी पारुल माथुर मौके पर पहुंचे. उनके साथ डॉग स्क्वायड, फिंगर प्रिंट एक्सपर्ट और एंटी क्राइम एंड साइबर यूनिट की टीम भी थी. तफ्तीश में जुटी पुलिस को कुछ खास जानकारी नहीं लगी है. ग्रामीणों से पूछताछ और पुरानी घटनाओं के आधार पर पुलिस राज्य से बाहरी गिरोह पर शक जता रही है.
लंबे समय से चोरों के निशाने पर थी ब्लैक ग्रेनाइट की मूर्ति
बिलासपुर एसएसपी पारुल माथुर ने बताया कि चोरों ने सेवक के पैंट से चाबी निकाकर मंदिर का ताला खोला और डेढ़ फीट ऊंची ब्लैक ग्रेनाइट की दुर्लभ मूर्ति चोरी कर ले गए हैं. अधिकारियों की अलग अलग टीम चोरों को पकड़ने के लिए जुट गई है. गौरतलब है गरुड़ गणेश मूर्ति को पहले भी चोरों ने निशाना बनाया है. ग्रामीणों के अनुसार गरुड़ गणेश मूर्ति की चोरी 2004 में भी हो चुकी है. लेकिन चोर जिले से बाहर जा नहीं पाए थे. सिरगिट्टी थाने क्षेत्र में चोरों को पुलिस ने पकड़ा और मूर्ति को दोबारा मंदिर में स्थापित करवाया. 2007 में भी मंदिर से मूर्ति चोरी की कोशिश हुई थी लेकिन चोरों को सफलता नहीं मिली. इसके बाद से ही गरुड़ गणेश की मूर्ति चोरों के निशाने पर थी